AutoFEATUREDTechमध्यप्रदेश

वेटरनरी सेवाएं अस्त-व्यस्त मध्य प्रदेश की , भारी कमी डॉक्टरों की

किसान आयोग के अध्यक्ष डॉक्टर एम एस स्वामीनाथन की रिपोर्ट में कहा गया था। 10 किलोमीटर के दायरे में कम से कम 1 पशु चिकित्सक होना अनिवार्य है। 5000 पशुओं के बीच में एक पशु चिकित्सक होना ही चाहिए। उसके बाद भी मध्य प्रदेश में पशु चिकित्सकों की संख्या आधी से भी कम है। सरकार पशु चिकित्सकों की भर्ती करने में कोई भी रुचि नहीं लेती है।

 

 

मध्य प्रदेश मैं पशुधन की आबादी लगभग 4 करोड से ज्यादा है। पशुओं की आबादी के हिसाब से कम से कम 2500 वेटरनरी डॉक्टर सरकार की सेवा में होने ही चाहिए। मध्यप्रदेश में 1671 पद पशु चिकित्सकों के स्वीकृत हैं।अभी 1425 पदों पर ही पशु चिकित्सक कार्यरत हैं। पशु चिकित्सा के क्षेत्र में पिछले वर्षों में काफी उपकरण और जांचों का महत्व हो गया है।जिलों में जो पशु चिकित्सालय कार्यरत हैं।

 

 

उनमें अभी तक उपकरण उपलब्ध नहीं कराए गए हैं।मध्य प्रदेश के पशु चिकित्सकों को मशीनों से जांच और इलाज करने के लिए प्रशिक्षित भी नहीं किया गया है। पशुओं के इलाज में डायलिसिस मशीन, सीटी स्कैन, सोनोग्राफी, डिजिटल एक्सरे एवं पैथोलॉजी जांच का भी बड़ा महत्व है।किंतु प्रदेश के पशु चिकित्सालयों में यह सुविधा उपलब्ध नहीं है।उपकरण यदि खरीद भी लिए जाते हैं।तो भी उनका उपयोग नहीं होता है।क्योंकि उनके लिए प्रशिक्षित डॉक्टर और तकनीकी स्टाफ भी उपलब्ध नहीं होते हैं।

[URIS id=12776]

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button