Singrauli : प्रदेश सरकार के खिलाफ जमकर की नारेबजी,खोला मोर्चा

वेतनवृद्धि की मांग को लेकर आशा, ऊषा कार्यकर्ताओं का बेमियादी हड़ताल शुरू
पोल खोल सिंगरोली
आशा,ऊषा, आशा सहयोगी संयुक्त मोर्चा ने न्यायपूर्ण वेतनवृद्धि की मांग को लेकर प्रदेश सरकार के खिलाफ जमकर प्रदर्शन करते हुए आज बुधवार से अनिश्चतकालीन हड़ताल पर जाने का निर्णय लिया है।
उनका आरोप है कि लगातार बढ़ती महंगाई के बावजूद प्रदेश सरकार की आशा एवं पर्यवेक्षकों को न्यायपूर्ण वेतन मानदेय दिये जाने की मांग के प्रति सरकार की अन्यायपूर्ण रवैया अभी भी जारी है। इस परिस्थिति में आशा, ऊषा एवं आशा सहयोगी संयुक्त मोर्चा म.प्र.द्वारा न्यायपूर्ण वेतनवृद्धि की मांग को लेकर इस विधानसभा के अंतिम बजट सत्र के दौरान आज 15 मार्च अनिश्चित कालीन हड़ताल पर जाने का निर्णय लिया है।
संयुक्त मोर्चा का कहना है कि प्रदेश की अधिकांश कार्यकर्ताएं केवल 2 हजार रूपये मासिक का वेहद अल्प वेतन में काम कर रही हैं। स्वास्थ्य के क्षेत्र में महत्वपूर्ण भूमिका, नियमित काम एवं अनिवार्य सेवा होने के चलते अन्य राज्य सरकारें वर्षों से आशा ऊषा एवं पर्यवेक्षकों को अपनी ओर से अतिरिक्त वेतन दे रही है। उनका आरोप है कि म.प्र.सरकार पिछले 16 वर्षों से आशाओं को कुछ भी नहीं दिया। प्रदेश सरकार ने जिन 7 कामों की राशि को दोगुना करने का आदेश जारी किया है इसका भुगतान नहीं हो रही है और अधिकांश आशाओं को इसका लाभ नहीं मिलेगी।
अन्य राज्यों की तरह प्रदेश की आशाओं की भी मांग निश्चित वेतन में न्यायपूर्ण वृद्धि किये जाने की है लेकिन इस न्यायपूर्ण मांग का निराकरण के लिए सरकार कोई कदम नहीं उठा रही है जो बेहद अन्यायपूर्ण है। संयुक्त मोर्चा ने 24 जून 2021 को आंदोलन के दौरान मिशन संचालक एनएचएम म.प्र.द्वारा दिये गये निर्णय को लागू कर आशा को 10 हजार एवं पर्यवेक्षकों को 15 हजार रूपये वेतन,मानदेय निश्चित वेतन देते हुए आशा एवं पर्यवेक्षकों के साथ न्याय किये जाने की मांग किया है। हड़ताल के दौरान संघ के अध्यक्ष क्रांति, महासचिव प्रेमलाल जायसवाल सहित भारी संख्या में आशा,ऊषा कार्यकर्ता मौजूद रहीं।